बस में मिली पूनम से हुआ सेक्स-2

पिछला भाग पढ़े:- बस में मिली पूनम से हुआ सेक्स-1

बस अपनी रफ्तार से चलती जा रही थी। 7 बजे के बाद उसे भी झपकी आने लगी, तो वो मेरे कंधे पे सिर टिकाने लगी अनजाने में। मुझे बहुत ही अच्छी फील आई उसको लेके। मुझे लगा कि आज कुछ अच्छा जरूर होने वाला था मेरे साथ। मैं उसको सोने दिया। बीच में टिकट वाले से हम तीनों का टिकट लिया।

पूरे रास्ते मैंने उसके लगाए परफ्यूम की महक ली। उसके बाल मेरे मुंह पे आ रहे थे। बहुत ही अच्छी फील आई पूरे सफर में। खैर हम बनारस पहुंच गए 8:30 पे, तो हमने पूनम के कान में बोला-

मैं: पूनम, बनारस आ गया।

तो वो जाग गई और हड़बड़ा के उठी तो पर्स निकालने लगी।

मैं हंस पड़ा और बोला: चलो, मैं पैसा दे दिया हूं जब तुम गहरी नींद में थी।

तो बोली: क्यों इतना कर्जा चढ़ा रहे हो हम पर?

मैं बोला: बाद में दे देना।

तो बोली: ठीक है।

हम नीचे उतर गए और एक जगह रेस्ट करने के लिए बैठ गए। चिंटू को भूख लग गई थी।

मैंने बोला: पूनम चलो कहीं खाना खाएं होटल में।

तो बोली: नहीं नीरज जी, मैं टिफ़िन में लाई हूं। 3 लोग आराम से खा लेंगे। पैसे मत खराब करिए, हमें अच्छा नहीं लग रहा।

मैं बोला: अच्छा ठीक है।

उसने देखा पूरे स्टेशन पे इतनी भीड़ थी कि कहीं बैठने की भी ठीक से जगह नहीं थी। वो यहां जाने कैसे सोने वाली थी।

मैं बोला: अब बोलो कहां रुकोगी?

तो बोली: चलो जहां आपका मन करे।

अब मैं सच में इतना खुश हुआ कि क्या बोलूं। हम होटल गए रूम लिए, अपना सारा सामान रखे। वो मेरे साथ थोड़ा अजीब फील तो कर रही थी, पर उसके पास कोई और ऑप्शन भी नहीं था। उसे जैसे मुझसे कोई दिक्कत ही नहीं थी। चार घण्टे में ही जैसे मैं उसका कोई सगा सा हो गया था।

मैं बोला: पूनम, अंदर से बन्द कर लो। मैं पानी को बोतल लेके आता हूं, और खाना खाये।

मैं पानी लेके अब दरवाजे पे आया। जैसे ही खोला तो खुल गया। देखा तो वो अपने कपड़े बदल रही थी ऊपर के। वो ब्रा में थी, अचानक रूम में घुसने से वो टी-शर्ट से खुद को ढकने लगी। मैं सॉरी बोल के लाइट ऑफ कर दिया, तांकि वो कपड़े बदल सके। वो कपड़े लेके बाथरूम में गई और वहीं से बदल के आई।

चिंटू ये सब नहीं देख पाया क्योंकि वो मोबाइल में लगा हुआ था। आके वो लाइट जलाई, और फिर बैग से टिफ़िन निकाल के पेपर बिछा के खोली टिफ़िन। हम तीनों ने पराठे और भिंडी की सब्जी खाई और कुछ देर बात किये पेपर को लेके।

तब तक रात के 9:30 हो गए थे। मैं देखा कि रूम में एक ही रजाई थी, तो मन में समझ गया कि एक ही रजाई ओढ़नी पड़ेगी चाहे जो हो।

मैं बोला: पूनम चलो सो जाते हैं।

तो बोली: हां, सुबह जल्दी उठना भी होगा।

तब तक चिंटू सो ही गया था, जब हम लोग पेपर की बात कर रहे थे। वो एक साइड में था, तो उसको पूनम ने खिसकाना चाहा तांकि वो हम दोनों के बीच में रहे। पर वो नहीं खिसक पाया तो वो लेट गई।

वो बोली: आपको भी मेरे बगल में लेटना पड़ेगा आज, सॉरी।

मैं बोला: सॉरी की क्या बात है इसमें? ये बात तो हमें बोलनी चाहिए थी।

तो वो मुस्कुराई। मैं अब लाइट ऑफ किया क्योंकि मुझे भी कपड़े बदलने थे। फिर मैं  जीन्स उतार के लोअर पहना और ऊपर इनर थी। अब मैं लेट गया पूनम के बगल में। रजाई साइज में छोटी थी, इसलिए एक-दम सट के सोना था, वरना खुल जाती रजाई। खैर उसकी परफ्यूम अभी भी मेरे नाक में आ रही थी। मुझसे रहा ना गया, और मैंने पूछा-

मैं: पूनम कौन सा परफ्यूम लगाई हो? काफी अच्छी खुशबू है।

वो पता नहीं क्या नाम बताई याद ही नहीं। हम लेटे-लेटे भी बात करने लगे‌। वो बोल रही थी, और मैं उसकी खुशबू लेने के लिये उसकी तरफ मुंह करके लेट गया।

वो सीधी लेटी थी, तो मेरा एक हाथ उसकी जांघ पे छू गया। वो मेरा हाथ हटा दी, और जो बात बता रही थी आगे बताने लगी। मुझे लगा कि शायद कुछ भी नहीं हो पायेगा आज।

फिर मैंने जान बुझ के हिम्मत करके फिर से हाथ उसी जगह रख दिया। वो फिर से हटा दी। अब जैसे वो गुस्से में थी, तो चुप हो गई। मेरी तरफ मुंह करके वो भी लेट गई और बोली-

वो: क्या है?

क्यों छू रहे पैर को बार-बार।

मैं बोला: सॉरी गलती से हुआ।

तो बोली: नहीं गलती से नहीं था‌। आपने जान बूझ के हाथ रखा था।

तो मैं शर्मा गया और चुप रहा। थोड़ी देर बाद वो फिर सीधी लेट गई और चिंटू की तरफ देखी, तो वो सो गया था गहरी नींद में।

पूनम बोली: अच्छा रख लो हाथ जहां रखना हो।

मैं ये सुन के क्या बताऊं कितना खुश हुआ। फिर मैं उसकी जांघ पे हाथ ले गया और उसकी चुस्त लोअर की वजह से ऐसे लगा, जैसे मैंने उसकी नंगे बदन पे हाथ रखा हो। फिर ऐसे ही सहलाने लगा। वो मुझे अपने घर की बात बताने लगी, और मैं उसको सुन भी रहा था। साथ में पूरे मन से उसकी जांघो को सहला रहा था‌। अब मैं अपना हाथ उसकी चूत पे फिराया। वो कुछ बता रही थी। अचानक से चूत पे हाथ गया, तो चुप हो गई।

फिर मैं धीरे-धीरे चूत भी ऊपर से सहलाने लगा, तो वो फिर अपने घर की कहानी बताने लगी‌। पर मेरा उसके घर की बातों पे मन ही नहीं लगा सुनने में। मैं हां में हां मिला रहा था, पर मैं उसको जोश में लाने की पूरी कोशिश कर रहा था, तांकि वो रात यादगार बना सकूं। उसकी सांसे तेज-तेज चलने लगी। मेरा पेनिस भी एक-दम टाइट हो गया था मेरे लोवर में। फिर मैंने हिम्मत करके हाथ उसकी लोवर के अंदर डालने लगा, तो वो फट से हाथ पकड़ ली।

वो बोली: मत करो नीरज जी, मैं कन्ट्रोल नहीं कर पाऊंगी। ये गलत है ना।

तो मैं उसके कान के पास अपना मुंह लेके गया और धीरे से बोला: हम कुछ भी गलत नहीं होने देंगे पूनम।

और प्यार से उसके कान में किस कर लिया। फिर धीरे से मैं हाथ लोअर में डाल के उसकी चड्डी के अंदर से उसकी चूत पे ले गया। वो गीली हो चुकी थी‌। उसे भी पूरा मजा आ रहा था, इसीलिए खुल के मना नहीं कर पा रही थी कुछ भी।

उसे भी पता था, ना मैं किसी से बताने वाला था ये सब, ना वो। तो उस रात को खुल के जी लेना ही ठीक था।

मैं चूत सहलाते-सहलाते अचानक से हाथ बाहर निकाल के उसके होंठों पे उंगली रख दिया। वो मेरी उंगली को अपने मुंह में लेके चूसने लगी सच में। मेरा लिंग और भी तन गया।

मैं बोला: पूनम मुझे वहां चूमना है।

तो उसने बोला: नहीं प्लीज़, गन्दा है ना वहां पे।

पर फिर भी मैं रजाई के नीचे चला गया, और उसकी लोअर उसकी चड्डी सहित खींच के पूरा निकाल दिया और बाहर रख दिया। फिर मोबाइल जला के उसकी चूत देखने लगा। गोरी-गोरी उसकी चूत और हल्के-हल्के से बाल काफी सेक्सी लग रहे थे।

बहुत सेक्सी खुशबू आ रही थी उसकी चूत से।‌ मैं नीचे सिर करके अब उसकी चूत अच्छे से चाटने लगा। जीभ से फिराने लगा, और जीभ चूत के अंदर डालने लगा। तो जैसे वो पागल हो गई हो मेरे सिर को पकड़ के अपनी‌ चूत पे जोर से दबाने लगी। मैं समझ गया अब कुछ भी करूं ये मना नहीं कर पायेगी।

वो धीरे से बोली: अपना भी लोअर निकालोगे या मैं ही बस बेशरम हूं?

तो मैं भी अपना लोअर और चड्डी दोनों निकाल दिया, और ऊपर का इनर भी निकाल दिया, और पूरा नंगा हो गया। फिर वो भी उठ के ऊपर के सारे कपड़े ब्रा सहित सब उतार दी। वो कपड़े उतार तो रही थी, पर उसकी आंखें बंद ही थी।

मैं समझ गया वो एक-दम मदहोश हो गई थी। उसने कमर पे काला धागा पहना हुआ था, जो काफी सेक्सी लग रहा था, और उसकी चूत के थोड़ा ऊपर एक तिल था, जो उसकी चूत को और सेक्सी बना रहा था।

अब हम दोनों पूरे नंगे थे। वो पेट के बल लेट गई,‌ तो मैं उसके ऊपर लेट गया। मैं अपना लिंग उसकी गांड पे ऊपर से रगड़ने लगा। काफी अच्छा फील आ रहा था। उसकी पीठ पे मैं जीभ से किस कर रहा था उसके बालों को हाथों से सहला रहा था। गले पे भी चूम ले रहा था। वो एक-दम मदहोश हो चुकी थी। उसे मानो होश ही नहीं था कि बगल में चिंटू भी सोया था।

10 मिनट तक ऐसे ही उसकी पीठ और गांड पे लिंग को घिसते-घिसते मेरा अब आगे करने का मन हुआ। तो मैंने धीरे से उसको सीधा लेटने को कहा। वो सीधी लेट गई, तो मैं उसके ऊपर 69 पोजिशन पे लेटने लगा, तांकि मैं उसकी चूत पे किस करूं, और वो मेरे लिंग को मुंह में लेके चूसे अच्छे से।

पहले तो वो मना की। फिर बाद में मान गई, और अब वो मेरे लिंग को अपने मुंह में लेके अच्छे से चूसना चालू की। मैं उसकी चूत चाट रहा था। साथ में अपने दोनों हाथों से उसकी जांघो को सहला भी रहा था।

उसके लिंग चूसने की वजह से मैं एक-दम पगलाने लगा। मुझे लगा मैं कहीं मुंह में ही ना झड़ जाऊं। तो मैं उसे रोक दिया। अब हम सीधे होकर एक-दूसरे को लिप किस करने लगे पागलों के जैसे। ऐसे में मेरा लिंग उसके पेट पे नाभि के पास छू रहा था। मैं पेट में ही घिसने लगा लिंग अपना।

तो वो फिर मेरे कान में बोली: नीरज जी, ये बहुत गलत हो रहा है।

मैं बोला: नहीं, ऐसा मत बोलो पूनम।

फिर वो बोली: नीरज अब नीचे करो।

और अपने हाथ से मेरा लिंग पकड़ के अपनी चूत पे लगाने लगी। मैं समझ गया कि अब ये पक्का झड़ जाएगी जल्दी ही।

तो मैं अब देर ना करते हुए सीधा उसके ऊपर आ गया, और वो अपने हाथ से ही चूत पे लिंग रखने लगी‌। मैं भी आराम से धक्का देने लगा, तो लिंग के पानी और चूत के चिकने पानी की वजह से मेरा लिंग आराम से चूत में सरक गया। काफी टाइट चूत थी उसकी। अब वो कमर हिला-हिला के मेरा साथ भी दे रही थी। मैं भी जोर-जोर से उसको चोदने लगा।

वो मेरे होंठों को अपने दांतों से काटने लगी थी प्यार से। मुझे अच्छा लग रहा था। मैं भी उसके गाल पे दांत काट रहा था, चूम रहा था। अब वो जोर-जोर से कमर हिलाने लगी, तो मैं समझ गया कि झड़ने वाली थी। मैं भी और जोर-जोर से चोदने लगा। वो आह आह करते-करते पूरा झड़ गई। दोस्तों पूरा उसका पानी बिस्तर पे गिर गया। हमसे भी अब रुका नहीं गया।

लगातार 10 मिनट ऐसे ही चोदते-चोदते मैं भी उसकी चूत में ही झड़ गया, और ऐसे ही एक-दूसरे से चिपक के आधे घण्टे तक लेटे रहे, एक-दूसरे को चूमते रहे। उसने मुझसे उसी दिन प्यार का इजहार भी कर दिया।

मैं बहुत खुश था। पूरी रात में 2 बार ऐसे ही प्यार भरा सेक्स हुआ, जो कि यादगार हो गया मेरे लिए। आज भी हम दोनों अपने ही शहर में मिल के रूम लेके ऐसे ही सेक्स करते हैं।

मेरी स्टोरी कैसी लगी कृपया बताएं जरूर।