रजनी की चुदाई उसीकी जुबानी-17 – जन्नत करनाल में ही है

मैं जा कर सोफे पर बैठ गयी और पति पत्नी कि चुदाई देखने लगी। एक हाथ मेरा मेरी चूत को मसल रहा था। “गीली हुई पड़ी थी और मुझे तो थोड़ी फूली भी लग रही थी”

रजनी की चुदाई उसीकी जुबानी-15 – करनाल के जलवे

घर में चुदाई का पूरा खेल चल रहा था। “इस घर में हर मर्द घर की हर को औरत को चोदता था, मगर पूरी ईमानदारी और असूलों के साथ”।

रजनी कि चुदाई उसीकी जुबानी-11 – हम करनाल में

“जिस तरह सरोज हम लोगों की चूतें चाट रही थी,और हमारी गांड में उंगली डाल कर गोल गोल घुमा रही थी, लग ही रहा था की सेक्स का पूरा मजा लेने में विश्वास रखती है”

रजनी की चुदाई उसीकी जुबानी-8

रजनी बोली, “सालो पढ़ाई करने आये हो या चुदाई करने, उतारो अपने अपने कपड़े” और फिर शुरू हुआ चुदाई का खेल दो लंड और दो चूत के बीच में।